अचवन कीजे कृपा निधान,
सुन्दर अचवन कीजे परम निधान !!
एक सखी जमुना जल ले आई,
दूजी लाई खरिका पान !!
काठो सुपारी चूना लवंग इलायची,
बीडी वाली चतुर सुजान !!
आप पाय सखियनको दीजे,
छत्रसाल कुरवान !!
श्री ५ नवतनपुरी धाम जामनगर
श्री अर्जुन राज
प्रणाम